हरियाणा-पंजाब के खनौरी बॉर्डर पर किसान नेता जगजीत डल्लेवाल 50 दिन से अनशन पर हैं। उनकी तबीयत बेहद नाजुक बनी हुई है। उनके शरीर का मांस खत्म हो रहा है और त्वचा भी सिकुड़ने लगी है। उनकी हड्डियां दिखने लगी हैं।
कल इसको लेकर सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई होगी। इससे पहले पटियाला से डॉक्टरों की टीम पुलिस के साथ खनौरी बॉर्डर पहुंची है। यहां वे डल्लेवाल के टेस्ट के लिए सैंपल लेंगे। पंजाब सरकार ने अनशन स्थल से 500 मीटर दूर अस्थायी अस्पताल बना रखा है। डल्लेवाल की हालत को देखते हुए यहां टीम को हाई अलर्ट पर रखा गया है।
वहीं किसानों के इस आंदोलन के बीच पंजाब BJP के अध्यक्ष सुनील जाखड़ ने मंगलवार को केंद्रीय कृषि मंत्री शिवराज चौहान से मुलाकात की। इस मुलाकात में किसानों की मांगों को लेकर भी चर्चा हुई।
फसलों पर MSP गारंटी कानून और अन्य किसानी मुद्दों पर रणनीति तैयार करने के लिए पंजाब भाजपा की चंडीगढ़ में 15 जनवरी को बैठक होगी। उधर, खनौरी मोर्चे पर संयुक्त किसान मोर्चा गैर राजनीतिक की मीटिंग हुई, जिसमें आंदोलन को आगे बढ़ाने के लिए रणनीति तैयार की गई। इसके साथ हरियाणा के कैथल जिले से किसानों का जत्था खनौरी बॉर्डर पर पहुंचेगा।
SKM के साथ मीटिंग 18 को शंभू और खनौरी मोर्चे पर चल रहे संघर्ष के साथ आने वाले दिनों में संयुक्त किसान मोर्चा भी नजर आएगा। सोमवार (13 जनवरी) को पटियाला के पातड़ां में तीन मोर्चे के नेताओं की मीटिंग हुई। 18 जनवरी को एक और मीटिंग फिर पातड़ां में होगी। इसमें 26 जनवरी को होनी वाली ट्रैक्टर मार्च को लेकर स्ट्रेटजी बनाई जाएगी।
मीटिंग के बाद क्या बोले किसान नेता... भारतीय किसान यूनियन (उगराहां) जोगिंदर सिंह उगराहां ने कहा- ''मीटिंग अच्छे माहौल में हुई हे। मोर्चा भी यह सोचता है कि सभी दलों को एकजुट होना होगा। जनता के सहयोग के बिना मोर्चा फतेह नहीं किया जा सकता। आज फिर यह फैसला हुआ है कि कोई भी एक दूसरे के खिलाफ बयानबाजी नहीं करेगा। हमारा दुश्मन भी सांझा है और संघर्ष भी सांझा है। 18 जनवरी को भी इसी जगह पर मीटिंग होगी।''
भाकियू (क्रांतिकारी) नेता सुरजीत सिंह फूल ने कहा- ''इस मीटिंग का सबसे बड़ा आउटपुट है कि एकता के लिए यह मीटिंग हुई है। तालमेल ग्रुप बनाने पर फैसला हुआ है। इस पर 18 जनवरी को होने वाली मीटिंग में मोहर लगेगी। इसके बाद 26 जनवरी को होने वाले ट्रैक्टर मार्च को लेकर रणनीति बनाई जाएगी।''
अधिकारी लगातार किसानों से मुलाकात कर रहे पंजाब सरकार के अधिकारी लगातार किसानों से मुलाकात कर रहे हैं। इससे पहले पंजाब सरकार के 7 मंत्री भी डल्लेवाल से मुलाकात कर चुके हैं। वहीं, सुप्रीम कोर्ट द्वारा इस मामले को लेकर गठित हाई पावर कमेटी ने मोर्चे पर पहुंचकर डल्लेवाल से मुलाकात की थी। साथ ही उन्हें कहा था कि वह मरणव्रत जारी रखे, लेकिन वह इलाज जरूर लें।
पिछले एक महीने में आंदोलन में 2 सुसाइड, एक मौत खनौरी बॉर्डर पर 10 महीने से प्रदर्शन में शामिल किसान जग्गा सिंह (80) की रविवार को मौत हो गई। वह फरीदकोट के रहने वाले थे। उन्होंने पटियाला के राजिंदरा अस्पताल में अंतिम सांस ली। पिछले दिनों तबीयत बिगड़ने के बाद उन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया था। इनके 5 बेटे और एक बेटी है।
इससे पहले 9 जनवरी को शंभू बॉर्डर पर एक किसान ने सल्फास निगलकर सुसाइड कर लिया था। मृतक की पहचान तरनतारन जिले के पहूविंड गांव में रहने वाले रेशम सिंह (55) के रूप में हुई। उसकी जेब से सुसाइड नोट मिला था, जिसमें उसने मौत के लिए सरकार को जिम्मेदार ठहराया था। इससे पहले लुधियाना के एक और किसान रणजोध सिंह ने दिल्ली कूच से रोकने पर जहर निगल लिया था। बाद में उसकी अस्पताल में मौत हो गई।