असम के विश्वनाथ जिले में एक नवजात बच्ची को 6,000 रुपए में बेच दिया गया। यह घटना जिले के गोहपुर इलाके की है। मामले में पुलिस ने 3 लोगों को अरेस्ट किया है। गिरफ्तार लोगों में बच्ची का पिता भी शामिल है। पुलिस ने शुक्रवार को यह जानकारी दी।
गोहपुर थाने के प्रभारी अधिकारी सुशील कुमार दत्ता ने कहा कि लखीमपुर जिले में पिता ने अपनी बच्ची को बेचा था। बच्ची को सुरक्षित बचा लिया गया है।
आरोपी के पिता ने ही करवाई थी शिकायत
पुलिस ने बताया कि जिस आरोपी को पकड़ा गया, उसी के पिता ने थाने में शिकायत दर्ज करवाई थी। शिकायतकर्ता ने बताया, 'मेरी बहू ने 11 अगस्त को गोहपुर सरकारी अस्पताल में एक लड़की को जन्म दिया। मेरे बेटे ने बताया कि अस्पताल में बच्ची की मौत हो गई, लेकिन मुझे उसकी इस बात पर शक हुआ। मैंने अस्पताल में बच्ची के जन्म के बारे में पूछताछ की, तब पूरा खुलासा हुआ।'
पुलिस ने बच्ची को सुरक्षित बचाया
गोहपुर पुलिस स्टेशन में आरोपी पिता और एक महिला के खिलाफ केस दर्ज किया गया और मामले की जांच शुरू की गई। पुलिस ने दोनों को अरेस्ट किया। दोनों आरोपियों ने अपना अपराध कबूल किया। इसके बाद पुलिस को पता चला कि तीसरा आरोपी लखीमपुर जिले का कृष्ण प्रसाद उपाध्याय है। तीनों को अरेस्ट कर अब नवजात बच्चों को खरीदने-बेचने वाले गिरोह का पता लगाया जा रहा है।
ओडिशा में भी 7 हजार में बेची गई थी बच्ची
ओडिशा के जाजपुर जिले में पुलिस ने एक नवजात बच्ची को छुड़ाया था, जिसे उसके माता-पिता ने बेच दिया था। माता-पिता ने उनकी गरीबी के कारण बच्ची को बेच दिया था। बच्ची को 7,000 रुपए में बेच दिया गया था। बच्ची को पुलिस ने बाल कल्याण समिति को सौंप दिया था।
नाना-नानी ने बेच दी थी 4 महीने की बच्ची
ओडिशा के बरहामपुर शहर में नाना-नानी ने 4 महीने की बच्ची को बेच दी थी, क्योंकि उनकी बेटी ने घरवालों के खिलाफ जाकर लव मैरिज की थी। इसी वजह से नाना-नानी ने बच्ची को बेच दिया था। पुलिस ने बच्ची को बचाकर उसके माता-पिता को सौंप दिया था।